DNA से जुड़े यह 15 रोचक तथ्य शायद ही जानते होंगे आप!! डीएनए
मानव शरीर में बहुत सारे रहस्य छुपे हैं। जिनमें से एक है DNA । इस आनुवंशिक कोड को खोजे हुए सौ वर्ष से भी अधिक समय हो गया है, लेकिन दुनिया के बड़े-बड़े शोधकर्ता भी जीवन निर्माण की इन कड़ियों के बारे में विस्तार से नहीं जान पाए हैं।
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कुछ खास बिमारियों से जुड़े जोखिमों का पता लगाने या किसी आपराधिक मामले को सुलझाने तक, DNA की खोज ने हमारे जीवन को काफी प्रभावित किया है।
अगर आपको लगता है कि आप शरीर के इस अहम हिस्से के बारे में सब कुछ जानते हैं।
तो Starsinsider.com में प्रकाशित इन तथ्यों को पढ़कर क्या कहेंगे:
1. DNA की खोज –
नोबेल पुरस्कार विजेता जेम्स वॉटसन और फ्रांसिस क्रिक लोकप्रिय खोज के लिए जाने जाते हैं मगर वह डीएनए की खोज करने वाले नहीं हैं।
वास्तव में, डीएनए की पहचान सबसे पहले 1869 में स्विस केमिस्ट फ्रेडरिक मिसेचर ने की थी।
2. रासायनिक संरचना – डीएनए चार बिल्डिंग ब्लॉक्स से बना होता है: न्यूक्लियोटाइड्स एडेनिन (ए), साइटोसिन (सी), गुआनिन (जी) और थाइमिन (टी)।
3. जीनोम – एक जीव के सभी जीनों के साथ DNA का पूरा सेट जीनोम कहलाता है। एक मानव जीनोम में डीएनए के कम से कम तीन बिलियन जोड़े होते हैं।
4. मानव जीनोम को टाइप करना – यदि आप दिन में आठ घंटों तक प्रति मिनट 60 शब्द टाइप करें तो संपूर्ण मानव जीनोम को टाइप करने में आपको लगभग 50 वर्ष लगेंगे।
5. बीमारी का खतरा – डीएनए स्तन कैंसर और हृदय रोग जैसी बीमारी के वंशानुगत जोखिम का अनुमान लगाने में मदद कर सकता है।
6. डीएनए पर पर्यावरण का प्रभाव – किसी व्यक्ति के DNA को उसके पर्यावरण की स्थितियां प्रभावित कर सकती हैं।
यह डीएनए को पूरी तरह से नहीं बदलता है, मगर यह जीन के काम करने के तरीके को प्रभावित करता है।
यही कारण है कि, कुछ लोग दूसरों की तुलना में अलग बालों या अलग रंगों के होते हैं।
7. जीन उत्परिवर्तन (Gene mutation) – आनुवंशिक जानकारी में परिवर्तन को उत्परिवर्तन कहा जाता है।
एक जीव के डीएनए में परिवर्तन करने पर उसके जीवन के सभी पहलुओं में बदलाव हो सकता है।
8. जीन उत्परिवर्तन का क्या कारण है? – बहुत सारे कारक जीन उत्परिवर्तन का कारण बन सकते हैं।
पर्यावरणीय ताकत जैसे सूर्य का यूवी विकिरण, तंबाकू, ड्रग्स जैसे रसायन, और इसी तरह की कुछ अन्य कारक।
9. वन्यजीव फोरेंसिक – वन्यजीव अपराधों को सुलझाने और शिकारियों की पहचान करने के लिए भी वन्यजीव फोरेंसिक विज्ञान में डीएनए का भी उपयोग किया जाता है।
10. सूरज तक जाने और आने के लिए पर्याप्त – यदि मानव के शरीर के सम्पूर्ण डीएनए को फैलाना संभव होता।
तो यह सूर्य पर 300 बार जाने और आने के लिए पर्याप्त होगा। सूर्य पृथ्वी से 150 मिलियन किमी दूर है।
11. माता-पिता से बच्चे में स्थानांतरित – बच्चे को अपना डीएनए आधा माता और आधा पिता से विरासत में मिलाता है।
12. फ़िंगरप्रिंट – जुड़वाँ बच्चों के जीन आपस में 100% मेल खाते हैं, लेकिन उनके फ़िंगरप्रिंट समान नहीं होते हैं।
हालांकि समान जीन उन्हें समान पैटर्न देते हैं, मगर उनका DNA वस्तुतः अविभाज्य होता है।
मूल रूप से इसका मतलब यह है कि यदि कोई समान जुड़वां लोग अपराध स्थल पर अपने डीएनए को छोड़ देते हैं।
तो अपराध प्रयोगशाला के लिए उन दोनों को अलग करना असंभव होगा।
13. परफेक्ट अपराध – जर्मन पुलिस अपराध स्थल पर डीएनए मिलने के बाद भी एक अपराध की गुत्थी को हल नहीं कर सकी। डीएनए साक्ष्य दो समान जुड़वाँ लोगों से मेल खाते थे।
लेकिन दोनों में से किसी ने भी अपराध स्वीकार नहीं किया और छूट गए।
14. केला – मनुष्य और केले का DNA आपस में 50% मिलता है।
15. चिंपैंजी – मनुष्य और चिंपांज़ी का डीएनए 98.5% मिलता है।